कुलपति
के विरुद्ध बलात्कार मामले में जांच के आदेश कार्य, जबलपुर का बहुचर्चित MEE-2 मामला
जबलपुर
जुडिशल मजिस्ट्रेट के समक्ष एक महिला ने अभिभाषक के माध्यम से आवेदन प्रस्तुत कर
कार्रवाई की अपेक्षा की, जिसमें उसके द्वारा बताया गया कि वीयू के कुलपति श्री जुयाल के द्वारा
उसके साथ दैहिक शोषण किया गया है, महिला ने बताया कि नौकरी दिलाने के झांसे देकर
अलग अलग शहरों में कुलपति के द्वारा बुलाया जा कर उसके साथ जबरदस्ती की गई है, इस
शिकायत को महिला ने पूर्व में थाने में भी प्रस्तुत किया था, जहां पर से कोई कार्यवाही
नहीं होने से प्रतिवेदित होकर यह मामला न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया.
महिला
ने नौकरी के झांसे को लेकर थाने में शिकायत प्रस्तुत की थी, जिस पर थाना प्रभारी
के द्वारा जांच आरंभ की गई और कार्यवाही करते हुए समस्त औपचारिकताएं पूरी करने
उपरांत महिला के घर जब बयान लेने इन्वेस्टिगेशन अधिकारी पहुंचे तो महिला अपने घर
से नदारद मिली, काफी खोजबीन करने के बाद और आवेदन में दर्ज मोबाइल नंबर पर भी
संपर्क करने के बाद महिला का कोई अता-पता नहीं मिलने के कारण जांच कार्यवाही
स्थगित कर दी गई थी.
क्या था मामला
महिला
के द्वारा लगाए गए आरोप के अनुसार महिला अपने कुत्ते का इलाज कराने विश्वविद्यालय
गई थी, जहां पर उसकी मुलाकात कुलपति से हुई थी, और वहीं से उनके मित्र जैसे संबंध
बने और धीरे धीरे कुछ समय पश्चात महिला के द्वारा अचानक से कुलपति के विरुद्ध
न्यायालय में या आवेदन प्रस्तुत कर दिया गया.
महिला
के द्वारा जो शिकायत थाने में प्रस्तुत की गई थी, उस पर कार्यवाही नहीं होने का
तर्क देते हुए प्रकरण न्यायालय में प्रस्तुत किया गया, जहां पर से आवेदिका के द्वारा
प्रस्तुत तर्क एवं दस्तावेजों के आधार पर भारतीय दंड विधान की धारा 376 -2 एन के तहत मामला दर्ज कर जांच में लेने
के आदेश पारित किए हैं, जिस पर अंतिम निर्णय जांच पूरी होने के बाद जांचकर्ता अधिकारी
को प्रतिवेदन पत्र न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत करना है, जिस पर से अंतिम निर्णय
न्यायालय के द्वारा लिया जाएगा.
Tags
Madhya Pradesh